CITY YOUTH | डिंडौरी के युवा सर्प विशेषज्ञ नमः शिवाय मरकाम ने मिडवे रिट्रीट और वार्ड-14 में रसेल वाइपर व कोबरा का किया सुरक्षित रेस्क्यू, वाइल्डलाइफ एडवेंचर को बनाई हॉबी

  • सोशल सर्विस में भी विशेष रुचि, वंचित वर्ग की निस्वार्थ सेवा सहित जिले की सीमा में हुए अनगिनत हादसों में घायलों को पहुंचाया अस्पताल 



डीडीएन रिपोर्टर | डिंडौरी

डिंडौरी के 23 वर्षीय सर्प विशेषज्ञ नमः शिवाय मरकाम (बेटू) ने शनिवार को नगर के वार्ड-14 निवासी नागरिक के घर में घुसे छोटा सर्प प्रजाति के काले नाग (कोबरा) का कुशलता से रेस्क्यू किया। वहीं, शुक्रवार की रात जोगी टिकरिया स्थित मिडवे रिट्रीट में घुसे रसेल वाइपर प्रजाति के जहरीले सर्प को भी सुरक्षित पकड़कर जंगल में छोड़ा। जिस काम में अच्छे-खासे लोगों के पसीने छूट जाते हैं, नमः शिवाय उस काम को शौक के रूप में आसानी से पूरा करते हैं। उन्होंने डिंडौरीडॉटनेट को बताया कि वह वाइल्डलाइफ एडवेंचर को हॉबी बना चुके हैं और बीते तीन साल से शौकिया तौर पर अलग-अलग प्रजाति के सांपों का रेस्क्यू कर रहे हैं। नगर के मदर टेरेसा स्कूल से 12वीं की शिक्षा हासिल करने बाद नमः शिवाय वर्तमान में इंदौर की IPS अकेडमी से लॉ की पढ़ाई कर रहे हैं। वह आदिवासी बाहुल्य डिंडौरी जिले के नागरिकों को कानूनी तौर पर सक्षम और जानकर बनाना चाहते हैं। वाइल्डलाइफ के अलावा वह सोशल सर्विस में भी विशेष रुचि रखते हैं। वंचित वर्ग की निस्वार्थ सेवा सहित घायलों की मदद के लिए भी नमः शिवाय तत्पर रहते हैं। डिंडौरी-जबलपुर, डिंडौरी-अमरकंटक और डिंडौरी-मंडला मार्ग पर हुए हादसों में वह अब तक अनगिनत घायलों को खुद के वाहन से अस्पताल पहुंचा चुके हैं।

2019 में भोपाल मिलिट्री एरिया में जवानों के साथ पूरी की ट्रेनिंग

नमः शिवाय ने बताया कि वह लंबे समय से वाइल्डलाइफ एडवेंचर के प्रति समर्पित हैं। 2019 में उन्होंने भोपाल मिलिट्री एरिया में जवानों के साथ एक्सपर्ट ट्रेनिंग हासिल की है। 2020 में डिंडौरी विधायक व पूर्व कैबिनेट मंत्री ओमकार सिंह मरकाम के सिविल लाइंस स्थित आवास पर दुर्लभ प्रजाति का जहरीला सर्प निकला था, जिसे फॉरेस्ट डिपार्टमेंट के एक्सपर्ट स्नैक कैचर भी पकड़ने में नाकाम रहे थे। रेस्क्यू के क्रम में दुर्भाग्य से उस सर्प की मौत हो गई थी। तभी नमः शिवाय ने ठान लिया कि वह खुद आगे से सांपों की रेस्क्यू करेंगे। उनका कहना है कि प्रकृति में हर जीव को जीने का हक है। वह अब तक आधा सैकड़ा से अधिक सांपों को पकड़कर सुरक्षित जंगल में छोड़ चुके हैं। इनमें कोबरा, रसेल वाइपर, रेड स्नैक, कॉमन करैत जैसी जहरीली प्रजातियां शामिल हैं। डिंडौरी जिले में करीब 50 प्रजाति से सर्प पाए जाते हैं। नमः शिवाय यह काम अपनी इच्छा से बिना किसी शुल्क के करते हैं। वह कहते हैं कि सांप किसी को बेवजह नुकसान नहीं पहुंचाते। जब उन्हें खतरा महसूस होता है तभी वह डिफेंस के लिए अटैक करते हैं। उन्होंने जिलेवासियों से आग्रह किया कि सांपों की बेवजह जान न लें। अगर ज़रूरत पड़े तो लोग स्नैक कैचिंग के लिए उनसे मोबाइल नंबर 8120370744 पर संपर्क कर सकते हैं।



Comments
Hemant Kushwaha said…
भैया शानदार, जबरदस्त, जिंदाबाद...