- दोपहर 03 से 04 बजे के बीच तेज हवाओं के साथ हुई बारिश, करीब 40-50 मिनट में 25 मिलीमीटर से अधिक वर्षा का अनुमान
- मौसम विभाग के अनुसार 30 मई को भी जिले के विभिन्न क्षेत्रों में फिर असर दिखाएगा तूफान, सतर्क रहने का अलर्ट जारी
- समनापुर-मानिकपुर-बोंदर मार्ग पर लेकिन तेज आंधी के कारण सड़क के बीचोंबीच टूटकर गिर पड़े बड़े-बड़े पेड़
डिंडौरी जिले में शनिवार को छत्तीसगढ़ के रास्ते 'यास' तूफान की एंट्री हुई। दोपहर करीब 03 बजे से छग की सीमा से सटे बजाग तहसील के गाड़ासरई और गोरखपुर क्षेत्र में तेज हवाओं के साथ जमकर बारिश शुरू हो गई। इसकी चेतावनी मौसम वैज्ञानिकों ने पहले से ही कर दी थी, जिसका असर आज जिले के बहुत से इलाकों में देखा गया। तूफान के कारण कई जगहों पर कच्चे मकान धराशाई हो गए, टीनशेड उड़ गए और कई घरों में बेतहाशा पानी भर गया। वहीं, मौसमी सब्जियों की फसल भी बर्बाद हो गई। गेहूं उपार्जन केंद्रों में अभी भी काफी मात्रा में उपज पड़ी है, जिसे भारी क्षति होने की आशंका बढ़ गई है। हालांकि किसी भी क्षेत्र से जनहानि की खबर नहीं है। 25 मई को नौतपा की शुरुआत से ही चक्रवाती तूफान बनने का क्रम प्रारंभ हो गया था। इससे मौसम में थोड़ी-बहुत ठंडक भी आई। आज अचानक मौसम ने करवट ली और तूफान ने अपना विकराल रूप दिखाया। हालाकि आंधी-बारिश थमने के बाद शाम के बक्त थोड़ी उमस कायम रही। मौसम विभाग के अनुसार 30 मई को भी तेज हवाओं और गरज-चमक के साथ जिले में बारिश का क्रम जारी रहेगा। जिले के कई क्षेत्रों में आज शाम तक आसमान में काले बादलों की आवाजाही बनी रहीं। बारिश के असर से सबसे अधिक आम की फसल को नुकसान पहुंचा है। पेड़ों में लगे बड़े आकार के आम गिरने लगे हैं। पपीता की तैयार फसल भी तेज हवाओं टूटकर गिर गए हैं। खेतों में भी पककर तैयार हरी सब्जियों पर तूफान का सीधा असर हुआ है। टमाटर, बैंगन और लौकी की फसल लगभग नष्ट हो चुकी है। पत्तेदार सब्जी-भाजियों को भी काफी नुकसान पहुंचा है। मौसम विभाग ने विभिन्न क्षेत्रों में करीब 40-50 मिनट में 25 मिलीमीटर से अधिक बारिश होने का अनुमान व्यक्त किया है।
शहर में असर नहीं, लेकिन गाड़ासरई में जनजीवन बेहाल
डिंडौरी जिला मुख्यालय तूफान के असर अछूता रहा, लेकिन गाड़ासरई और गोरखपुर में जनजीवन बुरी तरह प्रभावित हुआ है। बारिश से पहले हवाएं इतनी तेज चल रही थीं कि लोग घरों की सामग्रियां समेटने में लगे रहे। कई लोगों के कपड़ों सहित अन्य सामग्री भी हवा में उड़ गए। जिले में बीते दो-तीन दिनों पहले से ही तेज हवाएं चलने लगी थीं। बता दें कि 'यास' तूफान का असर पश्चिम बंगाल और उड़ीसा में सर्वाधिक रहा है। डिंडौरी जिले में इसकी एंट्री छत्तीसगढ़ की ओर से हुई है।